SAH JI INDIA TEAM







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आयुष्मान भारत योजना की विशेषताएं 1
. सरकार प्रत्येक परिवार को 5लाख प्रदान करेंगी।
2. अस्पतालों में विभिन्न प्रकार के मेडिकल चेकअप मुहैया कराए जायेंगे।
3. इस योजना के तहत, जिला अस्पतालों में सुविधांए बढ़ाई जाएंगी।
4. टीवी रोगियों के लिए जरुरतमंद सामग्री प्रदान करने के लिए 600 करोड़ आवंटित किए गए हैं।
5. चिकित्सीय शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए, सरकार ने इस बार 24 नए मेडिकल कॉलेज और अस्पतालों की स्थापना का फैसला किया है।
6. इस योजना के तहत व्यक्ति सरकारी और निजी दोनों अस्पतालों में अपना इलाज करवा सकते है। आयुष्मान भारत योजना के लिए जरुरी कागजात बैंक खाता होना चाहिए। बैंक खाता आधार कार्ड से भी लिंक होना अनिवार्य है। आय प्रमाण पत्र बेहद जरुरी। पहचान पत्र, आधार कार्ड


PM JAY AYUSHMAN BHARAT REGISTRATION
यह सर्विस में आप UTI के आईडी से आप आयुष्मान कार्ड बना सकते है!
अगर आपके पास CSC आईडी है तो भी यह आईडी ले सकते है!
यह सर्विस आईडी बनाने के 48 घंटा में चालू हो जाएगा!
दोस्तो आपके पेमेंट होते 15-30 मिनट के अंदर ही हमारे टीम आपसे संपर्क कर लेगा!
अगर आपका पेसा खाता से कट गया हे ओर हमारे टीम आपसे संपर्क ना किया हो तो आप हमे व्हात्सप्प या कॉल कर सकते!
आईडी लेने के बाद फूल ट्रेनिंग भी दिया!
अगर आपका पेसा खाता से कट जाता हे ओर किसी कारण नेट भी कट जाता हे तो आपका पूरा पेसा आपको रिफ़ंड कर दिया जाए बिना किसी भी प्रकार का शुल्क काटे!
अगर किसी कारण आपका पेसा कट जाता हे आईडी नहीं बन पाता हे तो आपका पूरा पेसा आपको रिफ़ंड कर दिया जाए बिना किसी भी प्रकार का शुल्क काटे!

Terms & Conditions:
21 राज्य का ही यह आईडी ले सकता है! मोबाइल नंबर वही दे जो आधार कार्ड से जोड़ा हो! 21 राज्य यह हे! 1.andaman and nicobar
2.bihar 3.chandigarh
4.goa
5.gujrat
6.haryana
7.himachal pradesh
8.jammu kashmir
9.jharkhand
10.lakshadweep
11.madhya pradesh
12.maharashtra
13.manipur
14.mizoram
15.nagaland
16.puducherry
17.punjab
18.sikkim
19.tripura
20.uttarakhand
21.uttar pradesh
Ayushman Bharat Yojana: ऑनलाइन और ऑफलाइन ऐसे कराएं रजिस्ट्रेशन और चेक करें अपना नाम
PM JAY AYUSHMAN BHARAT REGISTRATION
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अगर किसी कारण आपका पेसा कट जाता हे आईडी नहीं बन पाता हे तो आपका पूरा पेसा आपको रिफ़ंड कर दिया जाए बिना किसी भी प्रकार का शुल्क काटे!
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जो लाभार्थी इस योजना के अंतर्गत रेजिस्ट्रेशन के लिए आवेदन करना चाहते है वो हमारी पंजीकरण प्रकिया को ध्यान पूर्वक पड़े और इस योजना लाभ उठाएं।
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सर्वप्रथम प्रधानमंत्री आयुष्मान भारत योजना के तहत आवेदन करने के लिए हमारे सर्विस टीम के पास में जाएं और अपने सभी मूल दस्तावेज की छाया प्रति को जमा कर दे।
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इसके बाद हमारे सर्विस टीम के एजेंट द्वारा सभी दस्तावेज़ों का सत्यापन करके योजना के तहत रजिस्ट्रेशन सुनिश्चित करेंगे। आपको रजिस्ट्रेशन प्रदान करेंगे
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इसके बाद 5 से 7दिन के बाद आपको हमारे सर्विस टीम के द्वारा आयुष्मान भारत का गोल्डन कार्ड प्रदान किया जाएगा। इस प्रकार आपका रिस्ट्रेशन सफल हो जाएगा।
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ये हैं दस्तावेज जरूरी- आधार कार्ड, राशन कार्ड, मोबाइल नंबर, पते का सबूत।
निशुल्क हेल्पलाइन के जरिए
आयुष्मान योजना से संबंधित जानकारी हासिल करने के लिए केंद्र सरकार ने निशुल्क हेल्पलाइन नंबर 14255 जारी किया है। कोई भी व्यक्ति इस हेल्पलाइन नंबर पर कभी भी कॉल करके जानकारी हासिल कर सकता है। इस हेल्पलाइन पर हिंदी और अंग्रेजी के अलावा कई प्रमुख भाषाओं में जानकारी मिल जाएगी।
आयुष्मान भारत योजना की सभी जानकारी सरकारी वेबसाइट: पर दी गई है। इस पेज पर जाकर हम नीचे लिखे तरीकों से यह पता कर सकते हैं कि इस लिस्ट में आपका नाम है कि नहीं?
राशनकार्ड के नंबर के जरिए
आप राशन कार्ड नंबर का भी उपयोग कर सकते हैं। राशन कार्ड विकल्प का चुनाव करने के बाद राशनकार्ड नंबर भरने के लिए खाली स्थान जगह दिखने लगेंगी। इस स्थान को भरकर नीचे Search के बटन को क्लिक करने के बाद आपका नाम सर्च रिजल्ट में दिखाई देने लगता है। विकल्प के जरिए भी नाम कन्फर्म किया जा सकता है।
इस ऑप्शन के जरिए अपने राज्य का नाम भरते ही उसके नीचे एक खाली बॉक्स दिखेगा। इस बॉक्स में दिख रहे चार विकल्प में से विकल्प का चुनाव करना होगा। नाम भरने के बाद दिख रहे खाली स्थानों में पिता का नाम, माता का नाम, पत्नी या पति का नाम, लिंग (पुरुष, महिला या ट्रांसजेंडर), उम्र, जिला का नाम, गांव या कस्बे का नाम और पिनकोड नंबर शामिल हैं।

यूनिवर्सल हेल्थ कवरेज (यू-एच-सी) के उद्देश्य को प्राप्त करने के लिए, भारत सरकार की एक प्रमुख योजना “आयुष्मान भारत” का प्रक्षेपण राष्ट्रीय स्वास्थ्य नीति 2017 के द्वारा अनुशंसित किया गया। यह पहल, सतत विकास लक्ष्यों (SDGs) और इसकी रेखांकित प्रतिबद्धता को पूरा करने के लिए तैयार की गई है, जिसका उद्देश्य है की “कोई भी पीछे ना छूटे।”
“आयुष्मान भारत” स्वास्थ्य सेवा वितरण के क्षेत्रीय और खंडित दृष्टिकोण से हट कर, एक व्यापक और अपेक्षित स्वास्थ्य सेवा की ओर बढ़ने का प्रयास है। इस योजना का उद्देश्य प्राथमिक, माध्यमिक और तृतीयक स्तर पर स्वास्थ्य सेवा प्रणाली (प्रिवेन्शन, प्रमोशन एवं एंबुलेटरी केयर) को समग्रित रूप से सम्बोधित करना है। आयुष्मान भारत अबाध्य स्वास्थ्य सेवाओं की ओर एक बड़ा क़दम है। इसमें दो अंतर-संबंधित घटक शामिल हैं, जो निमलिखित हैं: -
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स्वास्थ्य एवं कल्याण केंद्र (HWC’s)
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प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना (पीएम-जय)
1. स्वास्थ्य एवं कल्याण केंद्र (HWCs)
फरवरी 2018 में, भारत सरकार ने मौजूदा उप केंद्रों और प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों को बदलकर 1,50,000 स्वास्थ्य एवं कल्याण केंद्र (HWCs) बनाने की घोषणा की। यह पहल, व्यापक प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र (CPHC) और स्वास्थ्य सेवाओं को लोगों के घरों तक पहुंचाने की कोशिश हैं। इन केंद्रों में नि:शुल्क आवश्यक दवाइयाँ, गैर-संचारी रोगों सहित नैदानिक एवं मातृ और बाल स्वास्थ्य सेवाएँ भी उपलब्ध हैं।
इन स्वास्थ्य एवं कल्याण केंद्रों की परिकल्पना अपने क्षेत्र की संपूर्ण आबादी में प्राथमिक स्वास्थ्य सेवाओं का विस्तार एवं सार्वभौमिकता के लक्ष्य से की गई। स्वास्थ्य संवर्धन और रोकथाम की रचना व्यक्तियों और समुदायों में स्वस्थ व्यवहारों को अपनाने और लोगों को स्वस्थ व सशक्त बनाने के लिए की गयीं हैं ताकि वे जटिल बीमारियों और उनसे उत्पन जोखिम से सुरक्षित रह सकें।
2. प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना
आयुष्मान भारत के तहत दूसरा घटक प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना है जिसे लोग (पीएम-जय)के नाम जानते हैं। यह योजना 23 सितंबर, 2018 को भारत के माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के द्वारा रांची, झारखंड में शुरू की गई।
आयुष्मान भारत (पीएम-जय)दुनिया की सबसे बड़ी स्वास्थ्य आश्वासन योजना है, जिसका उद्देश्य प्रति परिवार प्रति वर्ष 5 लाख रुपये तक का मुफ़्त इलाज माध्यमिक और तृतीयक स्वास्थ्य सेवाओं के लिए 10.74 करोड़ से भी अधिक गरीब और वंचित परिवारों (या लगभग 50 करोड़ लाभार्थियों को) मुहैया कराना जो भारतीय आबादी का 40% हिस्सा हैं। यह संख्या और शामिल किए गए परिवार ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों की सामाजिक-आर्थिक जाति जनगणना 2011 (SECC 2011) के अभाव और व्यावसायिक मापदण्डों पर आधारित हैं। (पीएम-जय)को पहले राष्ट्रीय स्वास्थ्य सुरक्षा योजना (NHPS) के नाम से जाना जाता था। पूर्ववर्ती राष्ट्रीय स्वास्थ्य योजना (RSBY), जिसका प्रमोचन 2008 में हुआ था, का विलय (पीएम-जय)में किया गया। इसलिए (पीएम-जय)के तहत, उन परिवारों को भी शामिल किया गया है जो RSBY में उल्लिखित थे, लेकिन SECC 2011 के डेटाबेस में मौजूद नहीं हैं। (पीएम-जय)पूरी तरह से एक सरकार द्वारा वित्त-पोषित योजना है जिसकी कार्यान्वयन की लागत केंद्र और राज्य सरकारों के बीच बाटी गई है।
(पीएम-जय) की मुख्य विशेषताएं
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(पीएम-जय)पूरी तरह से सरकार द्वारा वित्त-पोषित दुनिया की सबसे बड़ी स्वास्थ्य बीमा/आश्वासन योजना है।
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यह योजना भारत में सार्वजनिक व निजी सूचीबद्ध अस्पतालों में माध्यमिक और तृतीयक स्वास्थ्य उपचार के लिए प्रति परिवार प्रति वर्ष 5 लाख रुपये तक की धन राशि लाभार्थियों को मुहया कराती है।
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10.74 करोड़ से भी अधिक गरीब व वंचित परिवार (या लगभग 50 करोड़ लाभार्थी) इस योजना के तहत लाभ प्राप्त कर सकतें हैं।
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(पीएम-जय)सेवा संस्थान अर्थात “अस्पतालों” में लाभार्थी को स्वास्थ्य सेवाएँ निशुल्क प्रदान करती है।
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(पीएम-जय)चिकित्सा उपचार से उत्पन अत्यधिक ख़र्चे को कम करने में मदद करती है, जो प्रत्येक वर्ष लगभग 6 करोड़ भारतीयों को गरीबी की रेखा से नीचे पहुचा देता है।
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इस योजना के तहत अस्पताल में भर्ती होने से 3 दिन पहले और 15 दिन बाद तक का नैदानिक उपचार, स्वास्थ्य इलाज व दवाइयाँ मुफ्त उपलब्ध होतीं हैं।
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इस योजना के तहत परिवार के आकार, आयु या लिंग पर कोई सीमा नहीं है।
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इस योजना के तहत पहले से मौजूद विभिन्न चिकित्सीय परिस्थितियों और गम्भीर बीमारियों को पहले दिन से ही शामिल किया जाता है।
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(पीएम-जय)एक पोर्टेबल योजना हैं यानी की लाभार्थी इसका लाभ पूरे देश में किसी भी सार्वजनिक या निजी सूचीबद्ध अस्पताल में उठा सकतें हैं।
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इस योजना में लगभग 1,393 प्रक्रियाएं और पैकिज शामिल हैं जैसे की दवाइयाँ, आपूर्ति, नैदानिक सेवाएँ, चिकित्सकों की फीस, कमरे का शुल्क, ओ-टी और आई-सी-यू शुल्क इत्यादि जो मुफ़्त उपलब्ध हैं।
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स्वास्थ्य सेवाओं के लिए निजी अस्पतालों की प्रतिपूर्ति सार्वजनिक अस्पतालों के बराबर की जाती है।
पीएम-जय के तहत लाभ
भारत में कई सरकारी वित्त-पोषित स्वास्थ्य बीमा योजनाओं रही है जिनके अंतर्गत विभिन्न राज्यों में प्रति परिवार 30,000 रुपये से लेकर 3,00,000 रुपये तक की धन राशि मुहैया कराई जाती थी जो असमानता उत्पन करती थीं। (पीएम-जय) समस्त लाभार्थियों को सूचीबद्ध माध्यमिक और तृतीयक स्वास्थ्य सेवाओं के लिए प्रति परिवार प्रति वर्ष 5,00,000 रुपये मुहैया कराती है। इस योजना के तहत निम्नलिखित उपचार निशुल्क उपलब्ध हैं।
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चिकित्सिक परीक्षा, उपचार और परामर्श
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अस्पताल में भर्ती से पूर्व ख़र्चा
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दवाइयाँ और चिकित्सा उपभोग्य
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गैर-गहन और गहन स्वास्थ्य सेवाएँ
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नैदानिक और प्रयोगशाला जांच
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चिकित्सा आरोपण सेवाएं (जहां आवश्यक हो)
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अस्पताल में रहने का ख़र्चा
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अस्पताल में खाने का ख़र्चा
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उपचार के दौरान उत्पन्न होने वाली जटिलताएँ
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अस्पताल में भर्ती होने के बाद 15 दिनों तक की देखभाल
इस योजना में 5,00,000 रुपये का लाभ पूरे परिवार को मिलता है, यानेकि इसका उपयोग परिवार के एक या सभी सदस्यों द्वारा किया जा सकता है। RSBY योजना के तहत पाँच सदस्यों की पारिवारिक सीमा थी। उन योजनाओं से सीख लेते हुए, (पीएम-जय)की संरचना इस प्रकार की गई है कि परिवार के आकार या सदस्यों की उम्र पर कोई सीमा नहीं रखी गई है। इसके एलवा, पहले से मौजूद विभिन बीमारियों को इस योजना में पहले दिन से ही शामिल किया जाता है। इसका मतलब यह है कि (पीएम-जय)में नामांकित होने से पहले किसी भी क़िस्म की बीमारी या स्वास्थ्य अस्थिथि से पीड़ित व्यक्ति उन सभी चिकित्सीय परिस्थितियों के लिए, और साथ ही पीएम-जय योजना के तहत सारे उपचार, प्राप्त करने के लिए पहले दिन से ही लाभार्थी है।
